Surah Tawbah Ayat 38 Tafseer in Hindi
﴿يَا أَيُّهَا الَّذِينَ آمَنُوا مَا لَكُمْ إِذَا قِيلَ لَكُمُ انفِرُوا فِي سَبِيلِ اللَّهِ اثَّاقَلْتُمْ إِلَى الْأَرْضِ ۚ أَرَضِيتُم بِالْحَيَاةِ الدُّنْيَا مِنَ الْآخِرَةِ ۚ فَمَا مَتَاعُ الْحَيَاةِ الدُّنْيَا فِي الْآخِرَةِ إِلَّا قَلِيلٌ﴾
[ التوبة: 38]
ऐ ईमानदारों तुम्हें क्या हो गया है कि जब तुमसे कहा जाता है कि ख़ुदा की राह में (जिहाद के लिए) निकलो तो तुम लदधड़ (ढीले) हो कर ज़मीन की तरफ झुके पड़ते हो क्या तुम आख़िरत के बनिस्बत दुनिया की (चन्द रोज़ा) जिन्दगी को पसन्द करते थे तो (समझ लो कि) दुनिया की ज़िन्दगी का साज़ो सामान (आख़िर के) ऐश व आराम के मुक़ाबले में बहुत ही थोड़ा है
Surah At-Tawbah Hindi19. ये आयतें तबूक के युद्ध से संबंधित हैं। तबूक मदीना और शाम के बीच एक स्थान का नाम है। जो मदीना से 610 किलोमीटर दूर है। सन् 9 हिजरी में नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम को यह सूचना मिली कि रोम के राजा क़ैसर ने मदीने पर आक्रमण करने का आदेश दिया है। यह मुसलमानों के लिए अरब से बाहर एक बड़ी शक्ति से युद्ध करने का प्रथम अवसर था। अतः आपने तैयारी और कूच का एलान कर दिया। यह बड़ा भीषण समय था, इसलिए मुसलमानों को प्रेरणा दी जा रही है कि इस युद्ध के लिए निकलें। तबूक का युद्ध : मक्का की विजय के पश्चात् ऐसे समाचार मिलने लगे कि रोम का राजा क़ैसर मुसलमानों पर आक्रमण करने की तैयारी कर रहा है। नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम ने जब यह सुना, तो आपने भी मुसलमानों को तैयारी का आदेश दे दिया। उस समय स्थिति बड़ी गंभीर थी। कड़ी धूप तथा खजूरों के पकने का समय था। सवारी तथा यात्रा के संसाधन की कमी थी। मदीना के मुनाफ़िक़ अबु आमिर राहिब के द्वारा ग़स्सान के ईसाई राजा और क़ैसर से मिले हुए थे। उन्होंने मदीना के पास अपने षड्यंत्र के लिए एक मस्जिद भी बना ली थी। और चाहते थे कि मुसलमान पराजित हो जाएँ। वे नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्ल्म और मुसलमानों का उपहास करते थे। और तबूक की यात्रा के बीच आपपर प्राण-घातक आक्रमण भी किया। और बहुत से मुनाफ़िक़ों ने आपका साथ भी नहीं दिया और झूठे बहाने बना लिए। रजब सन् 9 हिजरी में नबी सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम तीस हज़ार मुसलमानों के साथ निकले। इनमें दस हज़ार सवार थे। तबूक पहुँचकर पता चला कि क़ैसर और उसके सहयोगियों ने साहस खो दिया है। क्योंकि इससे पहले मूता के रणक्षेत्र में तीन हज़ार मुसलमानों ने एक लाख ईसाइयों का मुक़ाबला किया था। इसलिए क़ैसर तीस हज़ार की सेना से भिड़ने का साहस न कर सका। आप सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम ने तबूक में बीस दिन रहकर रूमियों के अधीन इस क्षेत्र के राज्यों को अपने अधीन बनाया। जिससे इस्लामी राज्य की सीमाएँ रूमी राज्य की सीमा तक पहुँच गईं। जब आप मदीना पहुँचे तो मुनाफ़िक़ों ने झूठे बहाने बनाकर क्षमा माँग ली। तीन मुसलमान जो आपके साथ आलस्य के कारण नहीं जा सके थे और अपना दोष स्वीकार कर लिया था आपने उनका सामाजिक बहिष्कार कर दिया। किंतु अल्लाह ने उन तीनों को भी उनके सत्य के कारण क्षमा कर दिया। आपने उस मस्जिद को भी गिराने का आदेश दिया, जिसे मुनाफ़िक़ों ने अपने षड्यंत्र का केंद्र बनाया था।
Surah Tawbah Verse 38 translate in arabic
ياأيها الذين آمنوا ما لكم إذا قيل لكم انفروا في سبيل الله اثاقلتم إلى الأرض أرضيتم بالحياة الدنيا من الآخرة فما متاع الحياة الدنيا في الآخرة إلا قليل
سورة: التوبة - آية: ( 38 ) - جزء: ( 10 ) - صفحة: ( 193 )Surah Tawbah Ayat 38 meaning in Hindi
ऐ ईमान लानेवालो! तुम्हें क्या हो गया है कि जब तुमसे कहा जाता है, "अल्लाह के मार्ग में निकलो" तो तुम धरती पर ढहे जाते हो? क्या तुम आख़िरत की अपेक्षा सांसारिक जीवन पर राज़ी हो गए? सांसारिक जीवन की सुख-सामग्री तो आख़िरत के हिसाब में है कुछ थोड़ी ही!
Quran Urdu translation
مومنو! تمہیں کیا ہوا ہے کہ جب تم سے کہا جاتا ہے کہ خدا کی راہ میں (جہاد کے لیے) نکلو تو تم (کاہلی کے سبب سے) زمین پر گرے جاتے ہو (یعنی گھروں سے نکلنا نہیں چاہتے) کیا تم آخرت (کی نعمتوں) کو چھوڑ کر دینا کی زندگی پر خوش ہو بیٹھے ہو۔ دنیا کی زندگی کے فائدے تو آخرت کے مقابل بہت ہی کم ہیں
Tafseer Tafheem-ul-Quran by Syed Abu-al-A'la Maududi
(9:38) O *38 you who believed! what was amiss with you that, when you were asked to march forth on the Way of Allah, you clung to the earth? What! did you prefer the life of this world to the life of the Hereafter? If it is so, you should know that all these goods of this worldly life will prove to be but little in the Hereafter. *39
O you who have believed, what is [the matter] with you that, meaning
*38) From here begins the discourse (vv. 38-72) which was sent down at the time when the Holy Prophet was engaged in making preparations for the Campaign to Tabuk.
*39) ".... you should know that the goods ... Hereafter" may imply two meanings. First: "When you will find that the life in the Hereafter is eternal and see that the good things and the provisions of enjoyment are countless, you will realize that the potential and the actual enjoyments of the temporary life of this world were nothing as compared with the blessings of that great Kingdom. At that time you will regret why you deprived yourselves of this everlasting happiness and bliss for the sake of the little-very little-sort-lived enjoyments of the mortal life of this world. " Second: "The goods of this worldly life are of no value in the Hereafter, howsoever abundant they might be. You shall have to give up each and everything as soon as you breathe your last, for nothing of this world can go with you to the Next World. Of course, you will get credit for what you sacrificed for the pleasure and love of Allah, and lout of Islam."
phonetic Transliteration
Ya ayyuha allatheena amanoo ma lakum itha qeela lakumu infiroo fee sabeeli Allahi iththaqaltum ila alardi aradeetum bialhayati alddunya mina alakhirati fama mataAAu alhayati alddunya fee alakhirati illa qaleelun
English - Sahih International
O you who have believed, what is [the matter] with you that, when you are told to go forth in the cause of Allah, you adhere heavily to the earth? Are you satisfied with the life of this world rather than the Hereafter? But what is the enjoyment of worldly life compared to the Hereafter except a [very] little.
Quran Bangla tarjuma
হে ঈমানদারগণ, তোমাদের কি হল, যখন আল্লাহর পথে বের হবার জন্যে তোমাদের বলা হয়, তখন মাটি জড়িয়ে ধর, তোমরা কি আখেরাতের পরিবর্তে দুনিয়ার জীবনে পরিতুষ্ট হয়ে গেলে? অথচ আখেরাতের তুলনায় দুনিয়ার জীবনের উপকরণ অতি অল্প।
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Ayats from Quran in Hindi
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