Surah Hud Ayat 77 Tafseer in Hindi
﴿وَلَمَّا جَاءَتْ رُسُلُنَا لُوطًا سِيءَ بِهِمْ وَضَاقَ بِهِمْ ذَرْعًا وَقَالَ هَٰذَا يَوْمٌ عَصِيبٌ﴾
[ هود: 77]
जो किसी तरह टल नहीं सकता और जब हमारे भेजे हुए फरिश्ते (लड़को की सूरत में) लूत के पास आए तो उनके ख्याल से रजीदा हुए और उनके आने से तंग दिल हो गए और कहने लगे कि ये (आज का दिन) सख्त मुसीबत का दिन है
Surah Hud Hindi29. फ़रिश्ते सुंदर किशोरों के रूप में आए थे। और लूत अलैहिस्सलाम की जाति का आचरण यह था कि वे बालमैथुन में रूचि रखती थे। इसलिए उन्होंने उनको पकड़ने की कोशिश की। इसीलिए इन अतिथियों के आने पर लूत अलैहिस्सलाम व्याकुल हो गए थे।
Surah Hud Verse 77 translate in arabic
ولما جاءت رسلنا لوطا سيء بهم وضاق بهم ذرعا وقال هذا يوم عصيب
سورة: هود - آية: ( 77 ) - جزء: ( 12 ) - صفحة: ( 230 )Surah Hud Ayat 77 meaning in Hindi
और जब हमारे दूत लूत के पास पहुँचे तो वह उनके कारण अप्रसन्न हुआ और उनके मामले में दिल तंग पाया। कहने लगा, "यह तो बड़ा ही कठिन दिन है।"
Quran Urdu translation
اور جب ہمارے فرشتے لوط کے پاس آئے تو وہ ان (کے آنے) سے غمناک اور تنگ دل ہوئے اور کہنے لگے کہ آج کا دن بڑی مشکل کا دن ہے
Tafseer Tafheem-ul-Quran by Syed Abu-al-A'la Maududi
(11:77) And when Our messengers came to Lot, *85 he was perturbed by their coming and felt troubled on their account, and said: 'This is a distressing day. *86
And when Our messengers, [the angels], came to Lot, he was anguished meaning
*85). For details see Towards Understanding the Qur'an, vol. Ill, al-A'raf, nn. 63-8, pp. 49-53 - Ed.
*86). What seems to be evident from the story as related in the Qur'an is that the angels had come to Lot (peace be on him) in the form of handsome young boys. It also seems that Lot (peace be on him) was unaware that they were angels. He also felt quite disturbed, therefore, at the sight of the visiting young boys. His reaction was natural in view of the known degeneration and unabashed perversity prevalent among his people.
phonetic Transliteration
Walamma jaat rusuluna lootan seea bihim wadaqa bihim tharAAan waqala hatha yawmun AAaseebun
English - Sahih International
And when Our messengers, [the angels], came to Lot, he was anguished for them and felt for them great discomfort and said, "This is a trying day."
Quran Bangla tarjuma
আর যখন আমার প্রেরিত ফেরেশতাগণ লূত (আঃ) এর নিকট উপস্থিত হল। তখন তাঁদের আগমনে তিনি দুচিন্তাগ্রস্ত হলেন এবং তিনি বলতে লাগলেন, আজ অত্যন্ত কঠিন দিন।
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