Surah shura Ayat 46 Tafseer in Hindi
﴿وَمَا كَانَ لَهُم مِّنْ أَوْلِيَاءَ يَنصُرُونَهُم مِّن دُونِ اللَّهِ ۗ وَمَن يُضْلِلِ اللَّهُ فَمَا لَهُ مِن سَبِيلٍ﴾
[ الشورى: 46]
और ख़ुदा के सिवा न उनके सरपरस्त ही होंगे जो उनकी मदद को आएँ और जिसको ख़ुदा गुमराही में छोड़ दे तो उसके लिए (हिदायत की) कोई राह नहीं
Surah Ash_shuraa Hindi
Surah shura Verse 46 translate in arabic
وما كان لهم من أولياء ينصرونهم من دون الله ومن يضلل الله فما له من سبيل
سورة: الشورى - آية: ( 46 ) - جزء: ( 25 ) - صفحة: ( 488 )Surah shura Ayat 46 meaning in Hindi
और उनके कुछ संरक्षक भी न होंगे, जो सहायता करके उन्हें अल्लाह से बचा सकें। जिसे अल्लाह गुमराही में डाल दे तो उसके लिए फिर कोई मार्ग नहीं।"
Quran Urdu translation
اور خدا کے سوا ان کے کوئی دوست نہ ہوں گے کہ خدا کے سوا ان کو مدد دے سکیں۔ اور جس کو خدا گمراہ کرے اس کے لئے (ہدایت کا) کوئی رستہ نہیں
Tafseer Tafheem-ul-Quran by Syed Abu-al-A'la Maududi
(42:46) They shall have no protectors to help them against Allah. For he whom Allah causes to go astray will have no way to save himself.
And there will not be for them any allies to aid them meaning
phonetic Transliteration
Wama kana lahum min awliyaa yansuroonahum min dooni Allahi waman yudlili Allahu fama lahu min sabeelin
English - Sahih International
And there will not be for them any allies to aid them other than Allah. And whoever Allah sends astray - for him there is no way.
Quran Bangla tarjuma
আল্লাহ তা’আলা ব্যতীত তাদের কোন সাহায্যকারী থাকবে না, যে তাদেরকে সাহায্য করবে। আল্লাহ তা’আলা যাকে পথভ্রষ্ট করেন, তার কোন গতি নেই।
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